अनूपपुर। कलेक्टर को अपने बीच घण्टों पाकर खुश हुये बच्चे

shrisitaram patel-9977922638
सिद्धआश्रम कन्यापीठ में कलेक्टर ने बच्चों के साथ गुजारे घण्टों
कलेक्टर को अपने बीच घण्टों पाकर खुश हुये बच्चे
अनूपपुर। शारदा कन्यापीठ आश्रम पोड़की में मंगलवार को दोपहर कलेक्टर चंद्रमोहन ठाकुर तकरीबन 11 बजे पहूॅंचे, कलेक्टर को अपने बीच पाकर आश्रम की छात्राऐं बेहद प्रसन्न हुई। गौरतलब है कि कन्यापीठ आश्रम का संचालन बीते दो दशक से डॉ0 प्रवीर सरकार द्वारा किया जा रहा है। डॉ0 सरकार द्वारा वनांचल आदिवासी क्षेत्र में आश्रम की स्थापना कर बैगा बाहुल्य जनजाति छात्राओं को शिक्षित किया जा रहा है, इतना ही नहीं उनके द्वारा यहां पर नि:शुल्क दवाऐं भी क्षेत्रवासीयों को उपलब्ध करायी जाती है। आश्रम को किसी प्रकार से शासन प्रसाशन की ओर से कोई अनुदान प्राप्त नहीं होता, सामाजसेवियो के माध्यम से वह लगभग 15 वर्षोंसे आश्रम को चला रहे हैं। जानकारों की माने तो इस आश्रम से माध्यमिक शिक्षा प्राप्त करने के बाद निकलने वाली कई छात्राऐं विभिन्न सामाजिक क्षेत्रों व शासकीय व गैर शासकीय संस्थानों में अपनी सेवाऐं देने के साथ ही पारिवारिक दायित्वों का सकुशल निर्वहन कर रही है। इस बात की जानकारी कलेक्टर चंद्रमोहन ठाकुर को मालूम है। वह जब भी समय मिलता आश्रम की छात्राओं के बीच पहुॅंच कर उन्हें शिक्षाअर्जन कराते है मंगलवार को आश्रम में घण्टों रह कर उन्हेाने यहां आश्रम की छात्राओं को अध्यापन कार्य कराया वहीं उनके साथ अन्य विषय पर चर्चा की । कलेक्टर चंद्रमोहन ठाकुर ने इस अवसर पर वहां उपस्थित जनों से डॉ0 सरकार को किसी तपस्वी से कम नहीं कहा उन्होनें कहा कि अपना सम्पूर्ण जीवन अपने क्षेत्र व स्थान से कोसों दूर आकर आदिवासी बच्चों को शिक्षित करने में लगाना समाज को महत्वपूर्ण योगदान देना है उन्होंने आश्रम की छात्राओं को भरोसा दिलाया की वह आश्रम के लिये हर संभव मदद करेंगे। छात्राओं ने कलेक्टर को आश्रम की समस्याओं के बारे में बताया क्योंकि बगैर अनुदान प्राप्त संस्था सालो साल से कैसे चल रही है यह तो उसके संचालक डॉ0 सरकार ही समझ सकते हैं। घण्टों आश्रम में रहने के दौरान कलेक्टर ने छात्राओं के साथ सामान्य ज्ञान विषय में काफी कुछ बातें की छात्राओं ने भी कलेक्टर को भरोसा दिलाया कि हमेशा की तरह कन्यापीठ का रिजल्ट 100 प्रतिशत रहेगा। कन्यापीठ की छात्राओं को घर परिवार व समाज के बीच किस तरह संस्कारिक रहना है शिक्षा के साथ यह सबकुछ सिखाया जाता है। घण्टों बिताने के बात कलेक्टर चंद्रमोहन ठाकुर शाम करीब 6 बजे वहां से निकले छात्राओं ने फिर से कलेक्टर को आने के लिये कहा और आश्रम की मदद के लिये आग्रह किया।