कलेक्टर के निर्देश पर भी नही हटे सडकों से आवारा पशु

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आवारा पशुओं को मार्गो से हटाने कलेक्टर 2 अगस्त ने दिए निर्देश
अनूपपुर। कलेक्टर सुश्री सोनिया मीना ने कलेक्ट्रेट स्थित नर्मदा सभागार में 2 अगस्त की समय सीमा बैठक में नगरीय एवं ग्रामीण क्षेत्रों के सडकों तथा राष्ट्रीय एवं राज्य स्तरीय मार्गों में पशुओं के सडक में बैठने से हो रही दुर्घटनाओं का संज्ञान लेते हुए जिले के सभी नगरीय निकायों के मुख्य नगर पालिका अधिकारियों तथा ग्रामीण स्तर पर जनपद पंचायतों के मुख्य कार्यपालन अधिकारियों को ऐसे मार्गों को चिन्हित कर पशुओ को मार्ग से हटाने के लिए आवश्यक कार्रवाई करने के निर्देश दिए थे, लेकिन दिखावे के लिए कुछ दिनों तक दो-चार पशुओं को सडकों से उठाया गया, उसके बाद व्यवस्था जस की तस बनी हुई है।
नही हुई मुनादी


उन्होंने यह भी कहा था कि पशुपालकों को आगाह करने के लिए मुनादी कराई जाये। आवारा पशुओं को गौशाला भेजने की कार्रवाई हो। लेकिन 20 दिन बीत जाने के बाद भी सडकों से आवारा पशु दूर नही हो सके है, कुल मिलाकर यह पहला मामला नही है, इसके पहले भी पूर्व कलेक्टर चंद्रमोहन ठाकुर ने भी निर्देशित किया था, उस दौरान भी नपा के अधिकारियों और कर्मचारियों ने ध्यान नही दिया था और अब एक बार फिर कलेक्टर सुश्री सोनिया मीणा ने निर्देशित किया, लेकिन व्यवस्था में सुधार नही देखा गया, कुलमिलाकर कलेक्टर के निर्देशों को भी हल्के में नपा के अधिकारी व कर्मचारी ले रहे है।
तीन दिन पहले घटी थी घटना


ग्राम पंचायत खम्हरिया में रहने वाले 25 वर्षीय युवक की मुख्यालय घर जाते समय चंदास नदी के पास आवारा पशु से टकराने से उसकी मौत हो गई थी, मृतक अजय सिंह पिता जगदीश ङ्क्षसह अपने साडू के साथ जिला चिकित्सालय किसी को दवाई कराने के लिए आये हुए थे, लेकिन घर जाते समय सडक पर ही आवारा पशुओं से जा टकराये और गिरने से अजय मौत हो गई और उसका साडू गंभीर रूप से घायल हो गया था, लेकिन यहां किसी को भी कोई लेना देना नही है।

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