प्राकृतिक संसाधन के उपयोग से जलस्त्रोंतो को मिलेगी प्रदूषण से मुक्ति: पूर्णिमा

पॉलीथिन पर्यावरण सहित पशुधनों को भी पहुंचा रही क्षति
(Amit Dubey-8818814739)
शहडोल। क्षेत्रीय कार्यालय म.प्र. प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के कार्यालयीन प्रांगण में वृक्षारोपण का कार्यक्रम आयोजित किया गया, जिसकी अध्यक्षता जिला पंचायत उपाध्यक्ष श्रीमती पूर्णिमा तिवारी द्वारा की गई। इस अवसर पर श्रीमती पूर्णिमा तिवारी के साथ कार्यालय के अधिकारियों-कर्मचारियों द्वारा स्थानीय प्रजाति के कई वृक्षों का वृक्षारोपण किया गया। इस अवसर पर क्षेत्रीय कार्यालय, म.प्र. प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के शहडोल के कार्यपालन यंत्री एस.पी.झा, वैज्ञानिक डॉ.ए.के.दुबे, कनिष्ठ वैज्ञानिक जी.के.बैगा, कनिष्ठ वैज्ञानिक बी.एम.पटेल सहित कार्यालय के अन्य कर्मचारी इन्द्रभान मिश्रा, बी.पी.वर्मा, बालेन्द्र सिंह, शंकर लाल गुठारिया, सुभाष निगम, रामनरेश सेन, जयप्रकाश मिश्रा, सौरभ मिश्रा, सुश्री प्रियंका उर्मलिया, सुश्री दिव्या रजक, सुश्री दिव्या दुबे उपस्थित रहीं। इस अवसर पर राजएक्सप्रेस के ब्यूरो चीफ अफसर खान उपस्थित रहे।
नॉन-बूबन बैगा का इस्तेमाल
कार्यक्रम के उपरांत कार्यालय के मीटिंग हॉल में जिला पंचायत उपाध्यक्ष श्रीमती पूर्णिमा तिवारी द्वारा कार्यालय के अधिकारियों-कर्मचारियों के साथ एक संगोष्ठी में भाग लिया गया एवं पर्यावरण संबंधी विभिन्न मुद्दों पर सामयिक एवं उपयोगी चर्चा की गई। जिला पंचायत उपाध्यक्ष श्रीमति तिवारी द्वारा विशिष्ट रूप से जोर दिया कि पॉलीथीन बैग के स्थान पर नॉन-बूबन बैगा का इस्तेमाल किया जाये एवं वैवाहिक अवसरों पर होने वाले थर्मोकोल की थालियों के स्थान पर दोने-पत्तल की थालियों का इस्तेमाल किया जाये। इसी प्रकार प्राकृतिक जलस्त्रोतों के प्रदूषण को रोकने के लिए एवं गाय इत्यादि पशुधन के जीवन की सुरक्षा हेतु शहर एवं कालोनी की सुन्दरता को सुनिश्चित करने हेतु पॉलीथीन के विकल्प के रूप में नॉन-वूवन बैगा का इस्तेमाल किया जाये। संगोष्ठी में क्षेत्री कार्यालय के अधिकारियों द्वारा अवगत कराया गया कि प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा अशासकीय संगठनों के माध्यम से पॉलीथीन वेस्ट को एकत्रित कर प्रदेश के सीमेन्ट प्लान्ट की भ_ी (क्लिम) में विगत 10 वर्षों से दहन किया जा रहा है।
बांस की बोतल है विकल्प
मिनरल वॉटर की बोतल के विकल्प के रूप में बांस से बनी बोतल भी बाजार में उपलब्ध हो रही है। प्लास्टिक स्टॉ के स्थान पर गेहूं से बने स्ट्रॉ बनाये जा रहे हैं एवं सभी शाासकीय कार्यालय में 05 जून से सिंगल यूज प्लास्टिक पर बैन लगाया जा चुका है, जिसके परिप्रेक्ष्य में हमारे कार्यालय में कुल्हड़ का इस्तेमाल किया जा रहा है। श्रीमती पूर्णिमा तिवारी द्वारा पॉलीथीन प्रदूषण के संबंध में एवं विशेष रूप से पॉलीथीन प्रदूषण पर नियंत्रण हेतु विशिष्ठ रूप से जोर दिया गया तथा प्राकृतिक जलस्त्रोत को त्योहारों के अवसर पर प्रदूषण से मुकत रखे हेतु कच्ची मिट्टी से मूर्ति निर्माण की आवश्यकता बताई गई एवं मूर्ति का विसर्जन घरों में ही अस्थायी विसर्जन कुंड बनाकर करने हेतु विशेष्ज्ञ जोर दिया गया एवं मूर्ति विसर्जन के उपरांत पेड़-पौधे लगाकर वृक्षारोपण करने की आवश्यकता बताई गई।
कार्यक्रम के अंत में शहर के पत्रकार अफसर खान तथा स्वयंसेवी संगठन नीलम वेलफेयर सोसाइटी श्रीमती नीलम विश्वकर्मा द्वारा भी वृक्षारोपण किया गया। कार्यालय के कार्यपालन यंत्री एस.पी.झा, प्रयोगशाला प्रभारी डॉ. ए.के. दुबे, सुश्री दिव्या रजक, सुश्री दिव्या दुबे, बी.पी.वर्मा एवं राजेश सिंह द्वारा भी वृक्षारोपण किया गया।