घर पर त्योहार मनाने से नहीं रोका: गृहमंत्री

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सरकार धर्म या जाति के आधार पर नहीं करती भेदभाव

भोपाल। राजधानी में कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों को देखते हुए 24 जुलाई रात आठ बजे से 10 दिन के लिए फिर लॉकडाउन लगाने की घोषणा सरकार ने की है। इस घोषणा के बाद गुरुवार सुबह से शॉपिंग मॉल और किराना दुकानों पर जरूरी सामान लेने के लिए लोगों की भीड़ लग गई। गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि संपर्क की कड़ी को तोडऩा ही होगा इसलिए ही भोपाल में पूर्ण लॉकडाउन किया जा रहा है। मंत्रालय में भी अधिकारी और उनका स्टाफ ही आएगा। बाकी के अधिकारी कर्मचारी फिलहाल नहीं आएंगे, अत्यावश्यक वस्तुएं मिले इसकी व्यवस्था सुनिश्चित की जा रही है, इसी हिसाब से तैयारी के निर्देश दिए गए हैं।
गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि त्योहारों को लेकर उन्होंने कहा कि किसी को भी घर पर त्योहार मनाने से नहीं रोका गया है। परिस्थिति ऐसी हैं जिसमें थोड़ी एहतियात तो बरतनी ही पड़ेगी। पहले भी बहनें लिफाफे में डाक के माध्यम से राखियां भेजती थी। सरकार धर्म या जाति के आधार पर किसी तरह का कोई भेदभाव नहीं करती है। ग्वालियर, मुरैना और नसरुल्लागंज में इसी तरह संपर्क की कड़ी को तोड़कर कोरोना नियंत्रण पर सफलता पाई है। सीएम शिवराज सिंह चौहान ने ट्वीट कर कहा कि भोपाल में कोरोना संक्रमण की स्थिति और नागरिकों के हित को देखते हुए 24 जुलाई से 10 दिन का लॉकडाउन करने का फैसला किया गया है।
गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने बुधवार को मीडिया से चर्चा के दौरान कहा कि 24 जुलाई को रात्रि 8 बजे से 10 दिन का लॉकडाउन होगा। यानि 25 जुलाई से बाजार नहीं खुलेंगे। उनकी बातचीत का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल होते ही व्यापारी चिंतित हो उठे। लॉकडाउन करने की घोषणा से छोटे एवं मध्यम व्यापारी चिंतित हैं। इस बार लंबे लॉकडाउन के कारण व्यापारियों को अक्षय तृतीया एवं मांगलिक सीजन की ग्राहकी से हाथ धोना पड़ा था। व्यापारियों को लाखों रुपए का नुकसान हुआ। अब व्यापारियों ने रक्षाबंधन की सीजन के लिए काफी स्टॉक जमा किया है। अब यह सीजन भी फेल होने की संभावना से बाजार में चिंता का माहौल है। लॉकडाउन के दौरान दवाई, फल, सब्जी और दूध सहित सभी आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति की जाएगी। सीएम शिवराज ने सभी से नियमों के पालन के साथ कोरोना को लेकर सावधानी बरतने का अनुरोध किया।
थोक कपड़ा एवं बर्तन बाजार में लंबे समय से मंदी का माहौल है। ऐसे माहौल में व्यापारियों को रक्षा बंधन एवं सावन माह की सीजनल ग्राहकी चलने की उम्मीद बंधी थी। लॉकडाउन की घोषणा से व्यापारियों की सारी उम्मीदों पर पानी फिर गया है। 10 दिन के लॉकडाउन से छोटे एवं मध्यम फुटकर व्यापारी बेहद चिंतित हैं।
व्यापारियों का कहना है कि इस बार मांगलिक सीजन में बाजार बंद होने से थोक एवं फुटकर व्यापारियों को लाखों रुपए का नुकसान उठाना पड़ा था। दुकानों में काफी स्टाक पड़ा है, लेकिन ग्राहकी नहीं है। हमें रक्षा बंधन एवं मानूसन की ग्राहकी का इंतजार था। लॉकडाउन होने से व्यापारियों को काफी नुकसान उठाना पड़ेगा। हम घर का खर्च कैसे चलाएंगे। सरकार को छोटे एवं मध्यम फुटकर व्यापारियों के बारे में सोचना चाहिए। लॉकडाउन से छोटे व्यापारी भूखे मरने की कगार पर पहुंच जाएंगे। सरकार को टोटल लॉकडाउन के बचाय कुछ घंटे बाजार खुला रखने की अनुमति देनी चाहिए।

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