प्रांजल की मृत्यु पर फिर होगी जांच, अजाक थाने पर गिरेगी गाज

प्रांजल की मृत्यु पर फिर होगी जांच, अजाक थाने पर गिरेगी गाज
खाद्य मंत्री के आश्वासन के बाद परिजनो ने किया शव का अंतिम संस्कार
अनूपपुर। न्याय न मिलने से परेशान 20 वर्षीय युवक ने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। युवक ने दो महीने पहले पुलिस को आवेदन भी दिया था, उसमें उसने सुसाइड करने की बात भी कही थी। युवक ने कहा था कि मुझे न्याय नहीं मिला तो मैं आत्महत्या कर लूंगा। परिजनों का आरोप है कि इसके बाद भी पुलिस ने एक्शन नहीं लिया, जिससे परेशान होकर उसने आत्महत्या कर ली। 5 महीने पहले प्रांजल चौधरी के साथ मारपीट की घटना हुई थी, जिसके बाद उसे काफी चोटे पहुंची थी, जिसकी शिकायत अजाक थाने ने दिया था, लेकिन अजाक थाने में महज कार्यवाही जांच तक ही सिमट गई और राजनीतिक प्रभाव व अजाक थाने की लापरवाही ने प्रांजल की जान ले ली।
यह थी घटना
जानकारी के मुताबिक बीते 5 महीने पहले प्रांजल चौधरी एक लडकी को परेशान करता था, जिसके बाद परिजनों ने प्रांजल को सडक पर मारते हुए कोतवाली में लडकी को परेशान करने का एफआईआर दर्ज करवा दी, जिसके बाद प्रांजल के परिजनो ने अजाक थाने पहुंच कर गंभीर मारपीट करने की शिकायत की, लेकिन उनकी एक भी नही सुनी गई। मृतक की बहन का आरोप है कि प्रांजल ने पुलिस की प्रताडना से तंग आकर ये कदम उठाया है। बहन ने कहा कि पुलिस ने उसे छेडछाड के झूठे मामले में फंसाकर उसके साथ मारपीट की तभी से वो परेशान था। उसने पुलिस को चेतावनी भी दी थी कि उसे न्याय नहीं मिला तो वो आत्महत्या कर लेगा। फिर भी पुलिस ने उसे परेशान किया, इसके बाद उसने सुसाइड कर लिया।
दी थी सुसाइड की सूचना
16 दिसंबर 2022 को 20 वर्षीय प्रांजल चौधरी ने अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक शहडोल को एक आवेदन पत्र दिया था। इसमें प्रांजल ने लिखा था कि मैं अनूपपुर मुख्यालय के ग्राम सामतपुर वार्ड 6 का निवासी हूं। मेरे साथ 11 अक्टूबर 2022 को जातिगत अपमान और मारपीट की घटना की गई। विभाग के जांच अधिकरियों ने मेरे परिवार पर यह दबाव बनाना चहा कि मैं अपने चोट के इलाज के लिए पंचानन तिवारी से रुपए ले लूं और समझौता कर लूं। मेरे परिवार के बयान को कार्रवाई में नहीं लिया। आज तक कोई कार्रवाई नहीं की। पंचानन तिवारी राह चलते मेरे और मेरे परिवार का अपमान कर रहा है। वह बोलता है कि पुलिस मेरे जेब में है। मैंने एडिसनल एपी को किसी के माध्यम से मैसेज कर लिया था। अब कोई पुलिस अधिकारी मेरा कुछ बिगाड़ नहीं सकता। तुम्हारी किसी भी रिर्पोट पर कार्रवाई नहीं होगी। मेरे और मेरे परिवार का घर से निकलना और समान्य जीवन समाज में जीना मुश्किल कर दिया। मैं अपने परिवार की बेइजत्ती से परेशान हो गया हूं। मेरे परिवार को रिपोर्ट पर कार्रवाई नहीं हो रही। मेरा परिवार इतनी जिल्लत भरी जिंदगी को नहीं जी पा रहा है। एसी स्थिति में कार्रवाई नहीं होने पर मेरे और मेरे परिवार के सामने आत्महत्या कर लेने के अलावा कोई रास्ता नहीं है।
दो दिन बाद किया अंतिम संस्कार
न्याय न मिलने से प्रांजल ने फांसी तो लगा ली, जिसके बाद परिजनों ने थाने का घेराव कर दिया, लगातार पुलिस अधिकारियों के समझाइश के बाद भी नही माने, दो दिनो तक शव को जिला चिकित्सालय में रखने के बाद शुक्रवार को रेस्ट हाउस में पहुंचे खाद्य मंत्री बिसाहूलाल सिंह के पास पहुंचे, जहां उन्होने पुलिस अधिकारियों को बुलाते हुए विधिवत जांच कर दोषी पर कार्यवाही करने के लिए कहां और परिजनों को आश्वासन दिया कि जल्द ही जांच कर कार्यवाही की जायेगी, जिसके बाद परिजनों ने शव का अंतिम संस्कार किया।
इनका कहना है
पुलिस अधीक्षक के निर्देशन में जांच समिति गठित की गई है, जिसकी निगरानी एसडीओपी अनूपपुर करेगें।
अभिषेक राजन, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक अनूपपुर