सत्संग ऐसा हो जो इंसान को मोह माया से दूर कर जीवन मरण से मुक्ति दिलाए
कथा व्यास ने बताया भागवत कथा सुनने का महत्व
शहडोल। सत्संग ही इंसान को समाज में अच्छा और बड़ा स्थान दिलाता है। उक्त आशय की बात ग्राम उधिया में चल रहे श्रीमद् भागवत कथा ज्ञान में कथा व्यास पंडित बालकृष्ण पांडे (प्रतापगढ़ ) ने तीसरे दिन राजा भोज वा सुकदेव के प्रसंग में कही। उन्होंने कथा में दो तोता भाईयो के संत और दुर्जन संगति का उदाहरण देते हुए कहा कि तुलसीदास ने भी कहा है की दुष्ट की संगति से तो नरक का द्वार ही अच्छा। भागवत कथा की महत्ता को बताते हुए कहा कि जो भी इस कथा का श्रवण करता है वह संस्कारों से युक्त होकर जनम मरण के बंधन से मुक्त हो जाता है। सुकदेव जी ने गर्भ में ही भागवत कथा का श्रवण कर लिया था इसलिए उन्हे किसी रीति नीति में बांधना संभव नहीं। कथा सुनने के लिए बड़ी संख्या में लोग उपस्थित हो रहे है।