श्रद्धालुओं की आस्था का सौदा करने उतारू कर्मचारी-पुजारी

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                                                                                                                कुनबा समेत वसूली में लिप्त है नगर परिषद का बाबू

                                                                                                       सोशल मीडिया में पूजा के नाम पर वसूली के वीडियो वॉयरल
इन्ट्रो-मां नर्मदा की पवित्र तीर्थ स्थली अमरकंंटक धीरे धीरे श्रद्धालुओं के शोषण का केन्द्र बनता जा रहा है। यहां चढ़ावे के नाम पर जनता की आस्था का सौदा करने वाले कोई माफिया के लोग नहीं हैं बल्कि मंदिर की सेवा से जुड़े पंडित पुजारी व ट्रस्ट के लोग हैं। हैरानी की बात तो यह है कि रखरखाव का जिम्मा लेने वाली अमरकंटक नगर परिषद एहतियात बरतने की बजाय खुद भी गड़बड़ी में हाथ बंटा रही है।
शहडोल। मॉ नर्मदा की पवित्र उज्वल धार में स्नान करने और मंदिरों के दर्शन करने दूर दूर से श्रद्धालु यहां आते हैं। जिनका सहयोग करने की बजाय उन्हे चढ़ावा प्रसाद आदि के नाम पर उल्टे छुरे से मूडऩे का प्रयास किया जाता है। माई की बगिया पवित्र धाम में अक्सर ऐसी स्थिति बनी रहती है। खास बात यह है कि इस स्थल की देख रेख की जिम्मेदारी नगर परिषद अमरकंटक ने ले रखा है। माई की बगिया परिसर की जिम्मेदारी जिस कर्मचारी को परिषद ने सौंपी है, उस पर खुद व उसके पुत्रों पर भक्तों से अभद्रता और अवैध वसूली के आरोप लगे हैं। बीते दिवस यहां पहुंचे भक्तों के एक जत्थे से हुआ विवाद और उनसे पूजा के नाम पर नगदी बटोरने का वीडियो भी सोशल मीडिया में वायरल हुआ है।
चढ़ावे के नाम पर ऐंठ रहे
अमरकंटक नर्मदा मंदिर ट्रस्ट के अंतर्गत स्थित माई की बगिया में नगर परिषद अमरकंटक में पदस्थ वर्ग-3 के कर्मचारी गणेश पाठक को यहां की जिम्मेदारी सौंपी गई है। गणेश पाठक परिषद की फाईलों को निपटाने के साथ ही यहां पुजारी की भूमिका में भी रहते हैं। प्रतिदिन माई की बगिया में सैकड़ों भक्त पहुंच रहे हैं। खासकर नर्मदा परिक्रमा करने वाले भक्तों का जत्था नवम्बर-दिसम्बर माह से शुरू होने लगता है, मंगलवार को मंदिर परिसर में भक्तों का जत्था पहुंचा, जिनसे चढ़ावे के नाम पर गणेश पाठक का विवाद हुआ। सोशल मीडिया में वॉयरल वीडियो में भक्तों की टोली के प्रमुख ने गणेश पाठक पर अवैध वसूली के साथ ही अभद्रता के आरोप लगाये और मंदिर प्रबंधन ेके साथ ही कलेक्टर अनूपपुर से इस मामले में कार्यवाही करने की मांग भी की है।
अवैध वसूली में लिप्त है कुनबा
गणेश पाठक नगर परिषद में वर्ग-3 के कर्मचारी है, इनका कुनबा जैेसे पुत्र भी इनका वसूली में सहयोग कर रहे हैं। श्री पाठक का कुछ समय परिषद की फाईलों में तो बाकी समय माई की बगिया में ही बीतता है। बीते दिन हुए विवाद और वॉयरल वीडियो पर नजर डाले तो, गणेश के पुत्र यहां पहुंचे भक्तों से चढ़ावे की राशि खुद अपने हाथ में लेते नजर आ रहे हैं। स्थानीय जनों की माने तो गणेश पाठक के साथ उनके पुत्र ऋषि पाठक, अन्नू पाठक व अंकित पाठक अर्से से मंदिर परिसर में इसी तरह का माहौल बनाए हुए हैं। वॉयरल वीडियो भी इस बात की पुष्टि करता है कि गणेश पाठक के पुत्र किसी न किसी का संरक्षण मिलने के बाद ही इस तरह की वसूली, वह भी खुलेआम कर रहे हैं।
श्रद्धालुओं का अंतस हो रहा आहत
मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ ही नहीं बल्कि देश के तमाम प्रांतों से नर्मदा, सोन व जोहिला के उद्गम स्थल पर भक्त सैकड़ों की संख्या में पवित्र नगरी अमरकंटक पहुंचते हैं, नर्मदा मंदिर के साथ ही अन्य कई आश्रम और जैन तथा सिख समाज के मंदिर यहां स्थित हैं, देश की एक बड़ी आबादी की आस्था मां नर्मदा से जुड़ी हुई है। जिसमें धनाड्यों से लेकर गरीब तक यहां पहुंचते हैं, आस्था के नाम पर भक्तों की जेब खुलेआम काटी जा रही है। जिन लोगों को नगर परिषद ने यहां की व्यवस्था बनाने का जिम्मा सौंपा है, खुद उन्हीं के द्वारा आस्था के नाम पर भक्तों से अभद्रता और अवैध वसूली कहीं न कहीं हिन्दुओं के धार्मिक आस्था के साथ बड़ा कुठाराघात है।
इनका कहना है
हमने कई बार सुना है कि माई की बगिया में भक्तों को परेशान किया जाता है व वहां पहुंचने वाले पर्यटक अनायास ही लुट जाते है। ट्रस्ट की देख-रेख प्रशासन के पास होता है। उन्हे देखना चाहिए कि नर्मदा परिक्रमा वासियों को किसी भी प्रकार की परेशानी नही होनी चाहिए। हम तो विपक्ष में है न तो हमे बैठक में बुलाया जाता है और न ही किसी भी तरह की जानकारी उपलब्ध कराया जाता है। बीते वर्ष अमरकंटक में 50 करोड की प्रसाद योजना पहुंची थी, जिसका लाभ तो नही दिखा, लेकिन योजना प्रसाद की तरह बांट दी गयी। मेरा अनुरोध है कि कलेक्टर प्रमुखता से संज्ञान में लें, जिससे पर्यटकों को असुविधा नहीं हो।
फुंदेलाल सिंह मार्को
विधायक, पुष्पराजगढ़

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