लगा आरोप:- ऐ अधिकारी ने आयुष्मान कार्ड बनाने के नाम पर लिया 10 हजार रूपये   आयुष्मान कार्ड बनवाने के नाम आयुष्मान जिला अधिकारी के द्वारा की गई धोखाधड़ी पीड़ित नें लगाया पैसा लेने का आरोप , इलाज के अभाव में माता पिता की हुई मौत

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लगा आरोप:- इस अधिकारी ने आयुष्मान कार्ड बनाने के नाम पर लिया 10 हजार रूपये  
आयुष्मान कार्ड बनवाने के नाम आयुष्मान जिला अधिकारी के द्वारा की गई धोखाधड़ी पीड़ित नें लगाया पैसा लेने का आरोप , इलाज के अभाव में माता पिता की हुई मौत

कटनी। केंद्र सरकार हो या फिर राज्य सरकारें ये दोनों ही अपने स्तर पर कई तरह की योजनाओं का संचालन करती है। इन योजनाओं को चलाने के पीछे का उद्धेश्य हर जरूरतमंद और गरीब वर्ग तक इनका लाभ पहुंचाना होता है। यह सर्व विदित है कि कई सरकारी विभाग और हॉस्पिटल आदि जहाँ पर आम जनता का कार्य होता है वहाँ पर बिना कुछ धन दिए कोई भी कार्य नहीं होता है। जैसे आयुषमान योजना या मुफ्त अनाज वितरण, मनरेगा आदि सहित अन्य । वैसे तो केन्द्रीय या राज्य सरकारों की घोषणा के अनुसार ऐ शत प्रतिशत मुफ्त हैं। किन्तु सेवा प्रदाता द्वारा उक्त कोई भी सेवा पात्र जनता को बिना धन दिए नही मिलती है। वैसे इन सेवाओं का लाभ अपात्र लाभार्थी ही उठाते है जो धन देकर इन योजनाओं में पात्र बन जाते हैं। यदि सर्वेक्षण किया जाय तो लगभग 60% सें अधिक लोग अपात्र निकलेंगे। अतः है पार्थ, केन्द्रीय या प्रादेशिक सरकारों की घोषणा के अनुसार शत प्रतिशत मुफ्त योजनाओं का लाभ लेना है तो उसके लिए कुछ धन तो देना ही होगा। वरना झुनझुना बजाओ। ऐसी ही एक योजना है ‘आयुष्मान भारत प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना-मुख्यमंत्री योजना’। इस योजना के अंतर्गत पात्र लोगों के आयुष्मान कार्ड बनाए जाते हैं, जिनसे फिर कार्डधारक अपना 5 लाख रुपये तक का मुफ्त में इलाज करवा सकता है। लेकिन इन सबके बीच आयुष्मान कार्ड बनवाने के नाम पर जालसाज ठगी करने से बाज नहीं आ रहे हैं,ऐसा ही एक मामला कटनी जिले के सामने आया है जहाँ पर पीड़ित के द्वारा जिला अधिकारी आयुष्मान कार्ड के ऊपर आयुष्मान कार्ड बनवाने के नाम पर पैसा लेने का आरोप लगाया है जिसकी जानकारी शिकायत पीड़ित के द्वारा जनसुनवाई, पुलिस अधीक्षक कार्यालय, सिटी थाना,मुख्य चिकित्सा अधिकारी सहित सीएम हेल्पलाईन में की गई है। पीड़ित व्यक्ति का आरोप है की उक्त अधिकारी के द्वारा पैसा लेकर भी कार्ड नहीं बनाया गया जिसके इंतजार में उसके माता पिता दोनों की मृत्यु हों गई। अब पीड़ित नें न्याय की गुहार लगाते हुए संबंधित अधिकारी पर वैधानिक कार्रवाई की मांग की है। इस संबंध में पीड़ित नें जानकारी देते हुए बताया कि मिलन कुमार चटर्जी, जिला अधिकारी आयुष्मान कार्ड जिला चिकित्सालय कटनी, जिनका मोबाइल नंबर 9981004345 के द्वारा विक्रम जैसवानी पिता स्व० श्री हरीराम जैसवानी निवासी हाउसिंग बोर्ड कालोनी कटनी,जिनका मोबाइल नंबर 9893062653 सें श्री हरीराम जैसवानी के इलाज हेतु आयुष्मान कार्ड बनाये जाने के एवज में 10,000 /- रूपये की राशि की मांग की गई। परन्तु उक्त राशि लेने के बाद भी आयुष्मान कार्ड नहीं बनाये जाने व इलाज के अभाव में विक्रम के माता-पिता का स्वर्गवास हों गया। इस सम्बन्ध में जानकारी अनुसार विक्रम जैसवानी हाउसिंग बोर्ड कालोनी का निवासी है और मध्यम परिवार से संबंध है, उसके पिता श्री हरीराम जैसवानी एवं मां श्रीमती शीला देवी जैसवानी को केंशर की बीमारी होने के कारण उनका इलाज चल रहा था,पीड़ित मध्यम परिवार से है, बड़ी मुश्किल से अपने परिवार का जीवन यापन कर पाता है,उसके पास माता-पिता के इलाज हेतु पर्याप्त आर्थिक व्यवस्था नहीं होने के कारण उनका विधिवत इलाज नहीं करा पा रहा था । विक्रम को शासन की आयुष्मान कार्ड योजना की जानकारी लगने पर मिलन कुमार चटर्जी, जिला अधिकारी आयुष्मान के पास अपने परिवार का आयुष्मान कार्ड बनवानें गया, जिस पर मिलन चटर्जी द्वारा यह कहा गया कि इसमें मेरा व मेरी उच्चाधिकारियों से आयुष्मान कार्ड बनाये जाने में लगभग दस हजार रूपये का खर्च आयेगा, जिस पर विक्रम बहुत मजबूर था, उसके पास माता-पिता के इलाज के लिये पर्याप्त आर्थिक व्यवस्था नहीं थी, तो उक्त पीड़ित व्यक्ति ने 10,000 रूपये की व्यवस्था कर. 2500 दो हजार पांच सौ रूपये दिनांक, 23/10/2023 को आवेदक के इसी मोबाइल नम्बर पर फोन पे के द्वारा एवं इसी तारीख को 7500 सात हजार पांच सौ रूपये की राशि नगद भुगतान आस्था प्लजा के सामने किया। 10हजार रूपये की राशि का देने के बाद में उक्त व्यक्ति कों विश्वास रहा कि उसके परिवार का आयुष्मान कार्ड बन जायेगा, जिससे वह अपने माता-पिता का विधिवत शासन के व्यय पर इलाज करा सकेगा. किन्तु आज दिनांक तक आयुष्मान कार्ड नहीं बना और विक्रम के माता पिता की मृत्यु हों गई। आर्थिक स्थिति ठीक न होने व समय पर माता-पिता को उचित इलाज नहीं करा पाने के कारण श्रीमती शीला देवी का स्वर्गवास दिनांक 26/01/2024 को एवं पिता श्री हरीराम जैसवानी का स्वर्गवास दिनांक 14/01/2024 को हो गया। पीड़ित का आरोप है कि पैसा लेने के बाद भी आयुष्मान कार्ड नहीं बनाये जाने के कारण माता-पिता का उचित इलाज के अभाव में स्वर्गवास हो गया। पीड़ित व्यक्ति ने संबंधित की शिकायत उच्च अधिकारियों सहित सीएम हेल्पलाइन में भी की है। पीड़ित नें करबद्ध होते हुए न्याय की मांगकर लोभी-लालची अधिकारी के विरूद्ध जांच कर कठोर दण्डात्मक कार्यवाही किए जाने की मांग की है।

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